मक्के और गन्ने की खेती के लिए मिलेगी सब्सिडी, ऐसे उठाएं लाभ

Share Product प्रकाशित - 12 Mar 2024 ट्रैक्टर जंक्शन द्वारा

मक्के और गन्ने की खेती के लिए मिलेगी सब्सिडी, ऐसे उठाएं लाभ

जानें, मक्के और गन्ने की खेती पर कितना मिलेगा अनुदान और इससे किसानों को क्या होगा लाभ

मक्का व गन्ना की खेती करने वाले किसानों के लिए एक अच्छी खबर सामने आई है। राज्य सरकार की ओर से मक्का व गन्ना की खेती के लिए सब्सिडी का लाभ प्रदान किया जाएगा। क्षेत्र में मक्का व गन्ना का रकबा व उत्पादन बढ़ाने के उद्देश्य से किसानों को मक्का व गन्ना का उत्पादन बढ़ाने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा। सरकार की योजना से प्रदेश के किसानों को काफी लाभ होगा। खास बात यह है कि इस योजना में मक्का की अलग-अलग वैरायटी के हिसाब से अनुदान का लाभ प्रदान किया जाएगा।

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क्या है मक्का व गन्ना किसानों के लिए सरकार की योजना

मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक यूपी सरकार राज्य में मक्के की खेती को प्रोत्साहित कर रही है। इसके लिए सरकार एक नई योजना शुरू करने जा रही है। इस योजना के तहत प्रदेश में दो लाख हैक्टेयर क्षेत्र में गन्ने का रकबा और 11 लाख मीट्रिक टन से अधिक मक्के का उत्पादन बढ़ाने की योजना है। वहीं इस योजना के तहत एक लाभार्थी को अधिकतम दो हैक्टेयर की सीमा तक अनुदान का लाभ प्रदान किया जाएगा। इस योजना का लाभ राज्य के प्रत्येक जिले के किसान उठा सकते हैं। सरकार की इस योजना से प्रदेश के गन्ना व मक्का किसानों को काफी लाभ होगा। प्रदेश में उत्पादन में वुद्धि के साथ ही किसानों की आमदनी में भी बढ़ोतरी होगी।

मक्का की खेती पर कितनी मिलेगी सब्सिडी

मक्का की खेती पर सरकार की ओर से किसानों को मक्का की वैरायटी के हिसाब से सब्सिडी का लाभ प्रदान किया जाएगा। योजना के तहत देसी मक्का, संकर मक्का व पॉप कार्न मक्का की खेती के लिए किसानों को 2400 रुपए प्रति हैक्टेयर के हिसाब से अनुदान दिया जाएगा। वहीं बेबी कार्न मक्का की खेती के लिए 16,000 रुपए प्रति हैक्टेयर अनुदान मिलेगा। इसके अलावा स्वीट मक्का की खेती के लिए सरकार की ओर से किसानों को 20,000 रुपए प्रति हैक्टेयर का अनुदान दिया जाएगा। यूपी सरकार की ओर से यह योजना प्रदेश में चार सालों के लिए चलाई जाएगी। पिछले दिनों हुई कैबिनेट की बैठक में कृषि विभाग उत्तर प्रदेश की ओर इस प्रस्ताव को मंजूरी दी गई है। इसके बाद इस योजना को शुरू किए जाने का संबंध में शासनादेश जारी कर दिया गया है।

किन किसानों को मिलेगा योजना का लाभ

कृषि विभाग के अपर मुख्य सचिव डॉ. देवेश चतुर्वेदी की ओर से जारी किए गए शासनादेश के मुताबिक इस योजना का लाभ प्रदेश के सभी जिलों के किसानों को प्रदान किया जाएगा। हालांकि इस योजना के लिए प्रमुख रूप से राज्य के बहराइच, बुलंदशहर, कन्नौज, उन्नाव, हरदोई, गोंडा, कासगंज, एटा, फर्रुखाबाद, बलिया और ललिपुर सहित 13 जिले जो कि राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा मिशन के तहत मक्का फसल के लिए चयनित है, इन जिलों में इस योजना के वह घटक जैसे- संकर मक्का प्रदर्शन, संकर मक्का बीज वितरण और मेज सेलर को क्रियान्वित नहीं किया जाएगा, क्योंकि ये राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा मिशन योजना में भी अनुमन्य है।

किस काम में होता है मक्के का अधिक उपयोग

गेहूं व धान की खेती के बाद मक्का की खेती का अपना एक अलग ही स्थान है। खास बात यह है कि सिंचाई की सुविधा होने पर मक्का की खेती तीनों सीजन में की जा सकती है। मक्का के बढ़ते उपयोग के कारण आज बाजार में इसकी मांग बढ़ने लगी है। मक्का का उपयोग खाद्य सामग्री के अलावा पशु चारा, पोल्ट्री में मुर्गी दाना और प्रोसेस्ड फूड आदि के रूप में किया जाता है। इसके अलावा इसका उपयोग अब एथेनॉल बनाने में भी होने लगा है। ऐसे में इसकी बढ़ती उपयोगिता के कारण मक्का की खेती भी किसानों के लिए मुनाफे का सौदा साबित हो रही है।

यूपी में कितना होता है मक्के का उत्पादन

प्रदेश में साल 2021-22 में मक्के का उत्पादन 14.67 लाख मीट्रिक टन था। वहीं वित्तीय सीजन 2022-23 खरीफ सीजन में 6.97 लाख हैक्टेयर में 14.56 लाख मीट्रिक टन मक्के की पैदावार प्राप्त हुई थी। वहीं रबी सीजन में 0.10 लाख हैक्टेयर में 0.28 मीट्रिक टन और जायद सीजन में 0.49 लाख हैक्टेयर में 1.42 लाख मीट्रिक टन मक्के का उत्पादन प्राप्त किया गया। अब प्रदेश में 11 लाख मीट्रिक टन से अधिक मक्के का उत्पादन बढ़ाने का लक्ष्य रखा गया है।

यूपी में गन्ने की खेती के लिए कितनी मिलती है सब्सिडी

यूपी में गन्ने की खेती के लिए भी किसानों को अनुदान का लाभ प्रदान किया जाता है। इसके तहत किसानों को गन्ना बीज व भूमि उपचार और पेडी प्रबंधन के लिए कुल मिलाकर 900 रुपए प्रति हैक्टेयर के हिसाब से अनुदान दिया जाता है। पहले इस योजना के तहत गन्ना बीज, भूमि उपचार व पेड़ी प्रबंधन के लिए अलग-अलग अनुदान दिया जाता था।

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